श्याम बेनेगल की वो यादगार फिल्में… जिन्होंने समाज को दिखाया आईना, मिले कई अवॉर्ड्स – Shyam benegal death directors iconic films in parallel cinema brought reality to screen tmova
हिंदी सिनेमा के दिग्गज निर्देशक श्याम बेनेगल का निधन हो गया है. 90 की उम्र में उन्होंने आखिरी सांस ली, लेकिन लेजेंड्री फिल्म मेकर यूं ही नहीं इस दुनिया को अलविदा कह गए हैं. वो अपने पीछे कई याद छोड़ गए हैं.
जैसा कि एक इंटरव्यू में उन्होंने खुद कहा था, ‘मैं भूतकाल में नहीं जीना चाहता…’ इसे अगर उनके जीवन का सिद्धांत कहा जाए तो गलत नहीं होगा. 14 दिसंबर, 1934 को जन्मे श्याम बेनेगल की सोच बेहद दूरदर्शी थी. अपनी फिल्मों से श्याम ने हमेशा समाज को आईना दिखाया. कैसे आइये आपको समझाते हैं कुछ आइकॉनिक फिल्मों के जरिए.
श्याम का आइकॉनिक सफर
अंकुर: श्याम बेनेगल ने 1974 में फिल्म ‘अंकुर’ से निर्देशन की शुरुआत की थी. ये फिल्म सामाजिक मुद्दों पर आधारित थी. इस फिल्म ने उन्हें अंतरराष्ट्रीय स्तर पर पहचान दिला दी थी. ‘अंकुर’ ने 40 से ज्यादा राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय अवॉर्ड जीते थे. इस फिल्म में उन्होंने सामंतवाद और यौन उत्पीड़न जैसे ज्वलंत मुद्दों को उजागर किया था. इसमें श्याम ने हैदराबाद में हुई सच्ची घटना को फिल्म के रूप में दर्शकों के सामने पेश किया था. श्याम के साथ शबाना आजमी की भी ये पहली फिल्म थी.
मंडी: श्याम बेनेगल की ये फिल्म समाज की उन महिलाओं की कहानी है जो गुजारा करने के लिए अपना शरीर बेचती हैं. इसका संबंध वेश्यालय से भी रहा. फिल्म में शबाना आजमी, स्मिता पाटिल, नसीरुद्दीन शाह मुख्य भूमिका में नजर आए थे. कैसे लोग एक-एक वेश्यालय पर उंगली उठाते हैं, उसी वेश्यालय में जाकर छिप जाते हैं, यह फिल्म समाज के इसी चेहरे को उजागर करती है. इस फिल्म को राष्ट्रीय पुरस्कार से भी नवाजा गया था.
कलयुग: महाभारत से प्रेरित इस कहानी में कलयुगी परिवार के बीच कारोबार को लेकर होने वाली दुश्मनी को दिखाया गया था. फिल्म में राज बब्बर, शशि कपूर, सुप्रिया पाठक, अनंत नाग, रेखा, कुलभूषण खरबंदा, सुषमा सेठ जैसे दिग्गज कलाकार थे. ये श्याम बाबू की सर्वश्रेष्ठ फिल्मों में से एक थी.
जुबैदा: श्याम बेनेगल के डायरेक्शन में बनी ये फिल्म एक अलग ही प्रेम कहानी लिए बनाई गई थी. इसकी आज भी खूब चर्चा होती है, ये करिश्मा कपूर की नोटेबल फिल्मों में शुमार है. फिल्म में उनके साथ मनोज बाजपेयी और रेखा भी थीं. फिल्म में जुबैदा (करिश्मा कपूर) और महाराजा विजेंद्र सिंह (मनोज बाजपेयी) एक दूसरे से प्यार करने लगते हैं.हालांकि विजेंद्र सिंह पहले से ही महारानी मंदिरा देवी (रेखा) से शादीशुदा थे, लेकिन फिर भी वह अपने दिल को जुबैदा के प्यार में पड़ने से नहीं रोक पाए.यह कहानी जितनी सरल लग रही है, उतनी है नहीं.
भूमिका: श्याम की ये फिल्म एक फेमस मराठी एक्ट्रेस की कहानी दर्शकों के सामने पेश करती है. कैसे पुरुष उसकी जिंदगी में आते हैं और उसकी जिंदगी में कई बदलाव आते हैं. ये श्याम बेनेगल की बेहतरीन और प्रभावशाली फिल्मों में से एक रही है. इसमें अमोल पालेकर, स्मिता पाटिल, अनंत नाग, अमरीश पुरी और नसीरुद्दीन शाह जैसे कलाकार मुख्य भूमिका में थे.
निशांत: गांव की पृष्ठभूमि पर बनी ये फिल्म भारती की कहानी कहती है, जब लोग न्याय के लिए लड़ने से डरते थे. कैसे उच्च वर्ग के लोग गांव के लोगों का शोषण और उत्पीड़न करते थे. इस फिल्म में शबाना आजमी, गिरीश कर्नाड, नसीरुद्दीन शाह, अनंत नाग, अमरीश पुरी, स्मिता पाटिल जैसे कलाकार थे. इस फिल्म को शिकागो इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल में गोल्डन प्लेक अवॉर्ड से भी सम्मानित किया गया था.
मुजीब: एक राष्ट्र का निर्माण: साल 2023 में आई ये फिल्म शेख मुजीबुर्रहमान की जिंदगी पर आधारित एक बायोपिक है, जिसे बांग्लादेश और भारत के सपोर्ट से बनाया गया. ये फिल्म बांग्लादेश के “जनक” माने जाने वाले शेख मुजीब की पर्सनल और राजनीतिक सफर को दिखाती है. इसमें शेख मुजीब की भूमिका अर्जुन चक्रवर्ती ने निभाई है.
श्याम बेनेगल को भारत सरकार ने 1976 में पद्म श्री और 1991 में पद्म भूषण से सम्मानित किया था. इसके अलावा भी वो इंटरनेशनल लेवल पर कई अवॉर्ड्स जीत चुके हैं.