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Bengaluru software engineer suicide case – ‘मेरे बच्चे को बहुत टार्चर किया गया…’, बोलते हुए बेहोश हुईं AI इंजीनियर की मां, पिता ने लगाए ये आरोप – Bengaluru software engineer suicide case Atul Subhash mother fainted at Patna airport opnm2


बेंगलुरु में पत्नी की प्रताड़ना से तंग आकर खुदकुशी करने वाले एआई इंजीनियर अतुल सुभाष का अंतिम संस्कार कर दिया गया. उनके माता-पिता और भाई उनका अस्थि कलश लेकर बुधवार शाम पटना एयरपोर्ट पर पहुंचे. वहां अतुल के माता-पिता ने अपने बेटे के लिए इंसाफ की मांग की है. एयरपोर्ट पर रोते-रोते अतुल की मां बेहोश हो गईं. उससे पहले उन्होंने कहा, ”मेरे बच्चे को बहुत टार्चर किया गया है. मेरे बुढापे का सहारा चला गया.”

अतुल सुभाष के पिता ने कहा, ”हमारी न्याय प्रणाली बहुत कमजोर है. हमें न्याय नहीं मिला. मेरा बच्चा सब बयान दे गया है. वो हम लोगों को बहुत ज्यादा नहीं बताता था. उसे लगता था कि हम ये सब सुनकर दुखी होंगे. उसे खूब टार्चर किया गया है. हम चाहते हैं कि कानून-व्यवस्था सही हो. मेरे बच्चे को इंसाफ मिले.” इससे पहले अतुल के भाई ने कहा, ”मेरे भाई पर झूठे केस चल रहे थे. उन्होंने सिस्टम के खिलाफ लड़ते हुए अपनी जान दे दी.”

अतुल के छोटे भाई विकास मोदी ने बताया, “सोमवार की रात 2.50 बजे मुझे एक अज्ञात नंबर से फोन कॉल आया. उस व्यक्ति ने पूछा कि क्या मैंने अपने बड़े भाई अतुल सुभाष से बात की है. मैंने उन्हें बताया कि मैंने रविवार रात को उनसे बात की थी. वो बातचीत में बिल्कुल सामान्य थे. फिर जब उन्होंने पूछा कि क्या उनके मन में खुदकुशी के विचार आते हैं, तो मैंने उस व्यक्ति से झल्लाकर कहा कि आप किस तरह की बकवास कर रहे हैं?”

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एयरपोर्ट पर मीडिया से बातचीत के दौरान अतुल की मां बेहोश होकर गिर पड़ीं.

छोटे भाई ने कहा- घर में फंदे से लटक रहा था शव!

विकास आगे बताते हैं, ”मैंने इस फोन कॉल को प्रैंक समझा. लेकिन जब अपना व्हाट्सएप चेक किया, तो मेरे भाई के कई मैसेज आए हुए थे. उन्होंने एक घंटे पहले चार ईमेल भी भेजे थे. उसमें कुछ लोगों के नाम और संपर्क भी दिए गए थे. हालांकि, इसके बावजूद मुझे लगा कि शायद मेरा व्हाट्सएप हैक हो गया है. इसके बाद उस कॉलर को दोबारा फोन किया, तो पता चला कि वो पुरुषों के अधिकारों के लिए काम करने वाले एक एनजीओ सेव इंडियन फैमिली फाउंडेशन से जुड़े हैं.”

इसके बाद उस एनजीओ ने इसकी सूचना पुलिस को दी. पुलिस घर पहुंची, लेकिन पहले दरवाजा नहीं तोड़ा, क्योंकि उन्हें लगा कि शायद अतुल घर पर नहीं है, क्योंकि उनकी गाड़ी पार्किंग में नहीं थी. फिर पुलिस ने विकास को कॉल किया और बताया कि उनके भाई के साथ कुछ घटना हुई है, वो जल्द से जल्द बेंगलुरु पहुंचे. विकास कुछ घंटों बाद बेंगलुरु पहुंचे, तो उन्होंने पाया कि उनके भाई ने आत्महत्या कर ली है. उन्होंने घर में जाकर देखा तो उनके भाई का शव फांसी के फंदे से लटक रहा था.

24 पन्नों के सुसाइड नोट और वीडियो में दर्ज बयान

अतुल सुभाष ने खुदकुशी से पहले 24 पन्नों का एक सुसाइड नोट और करीब 1.5 घंटे का वीडियो अपने छोटे भाई और एक एनजीओ के व्हाट्सएप ग्रुप में शेयर किया था. उन्होंने लिखा था कि उनको न्याय मिलना चाहिए. यदि ऐसा नहीं होता है, तो उनकी अस्थियों को कोर्ट के सामने गटर में बहा दिया जाए. ताकि उनकी आत्मा को भी हमेशा लगे कि उनको इस सिस्टम से न्याय नहीं मिला है. एक पुलिस अधिकारी ने बताया कि अतुल ने कई लोगों को ईमेल के जरिए अपना सुसाइड नोट भेजा था. 

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खुदकुशी से पहले अतुल ने व्हाट्सएप मैसेज में लिखा था, “सर, ये मैसेज गुड बाय बोलने के लिए है. हो सके तो मेरी फैमिली की मदद कीजिएगा. अभी तक के साथ के लिए बहुत-बहुत धन्यवाद.” इसमें उन्होंने अपने द्वारा बनाए गए वीडियो और सुसाइड नोट का लिंक भी भेज दिया था. उन्होंने अपने घर में एक तख्ती भी लटका रखी थी, जिस पर लिखा था, ‘न्याय मिलना बाकी है.’ इस मामले पर सोशल मीडिया पर भी लोग अलग-अलग अपनी प्रतिक्रियाएं दे रहे हैं.

अतुल की सास ने सभी आरोपों को खारिज किया

जौनपुर में रहने वाली अतुल सिंघानिया की पत्नी निकिता सिंघानिया के परिवार का बयान भी सामने आया है. निकिता की मां ने अपनी बेटी और परिवार पर लगाए गए उत्पीड़न के सभी आरोपों को खारिज कर दिया है. उन्होंने कहा, “ये जो आरोप लगे हैं, सारे निराधार है. मैं सारे सबूत दुनिया के सामने रखूंगी. अतुल सुभाष ने अपना फ्रस्ट्रेशन हम पर निकाला है. मेरी बेटी कभी किसी को आत्महत्या के लिए नहीं बोल सकती.” निकिता के चाचा ने कहा हमारे परिवार का कोई भी दोषी नहीं है.

निकिता के चाचा सुशील कुमार ने आरोपों का खंडन करते हुए कहा, “निकिता अभी यहां नहीं है, लेकिन जब वह वापस आएगी, तो वह हर सवाल का जवाब देगी. मुझे मीडिया के माध्यम से पता चला कि अतुल सुभाष की आत्महत्या मामले में एफआईआर में मेरा नाम था. लेकिन मैं वहां (बेंगलुरू में) नहीं था और न ही इस मामले में मेरी कोई भूमिका थी. हमें मामले के बारे में मीडिया से ही पता चला है.” इस केस में अभी निकिता के पक्ष का सभी को इंतजार है.

इनपुट- सुजीत गुप्ता



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